डेस्क रिपोर्ट –

दो टुकड़ों में कटी नागिन 19 घंटे तक जिंदा रही

जेसीबी के बकेट की चपेट में आने से एक नागिन दो हिस्सों में बंट गई। कटा हुआ आधा हिस्सा भी उसी के पास पड़ा रहा।इसके बाद भी वह फन फैलाकर घटना वाले स्थान पर ही बैठी रही। दो टुकड़ों में कटी नागिन 19 घंटे तक जिंदा रही।दरअसल नागिन का हार्ट व मस्तिष्क ऊपरी हिस्से में होने से उसे ऑक्सीजन मिलता रहा। जिससे वह लंबे समय तक जिंदा रही।

घटना की जानकारी मिलते ही नाग मंदिर के पंडित ओम शर्मा, दिलीप बाघमार, विशाल छाजेड़ सहित अन्य लोग पहुंचे।
उन्होंने नागिन के पास दूध से भरा कटोरा रखकर पूजा की। सौरभ छाजेड़ ने शास्त्र का वाचन किया। स्थानक भवन में विराजित जैन संत ने आकर मांगलिक सुनाई। लगभग 19 घण्टे बाद नागिन ने दम तोड़ दिया। उसका अंतिम संस्कार परिसर में ही किया गया। इस दौरान लोगों की भीड़ लगी रही।

पशु चिकित्सक डॉ. राजेश प्रधान ने बताया सांप का हार्ट व मस्तिष्क ऊपरी हिस्से में होता है। नागिन का पीछे का हिस्सा कटने के कारण उसके हार्ट व मस्तिष्क को ऑक्सीजन व रक्त का सप्लाय होता रहा। इसके कारण वह इतने लंबे समय तक जिंदा रही। धीरे-धीरे उसका रक्त बहने व हायपोक्सिया (ऑक्सीजन की कमी) के कारण उसकी मौत हो गई।

By MPNN

error: Content is protected !!